उत्तराखंड की राजधानी में हॉटस्पॉट बन रहा रायपुर ब्लॉक, अब तक 443 जगह मिला डेंगू का लार्वा……

देहरादून: ग्रामीण क्षेत्रों में डेंगू का खतरा कम रहता है, लेकिन शहरी क्षेत्र में इसका ज्यादा प्रभाव देखने को मिल सकता है। हालांकि जिले में अबतक डेंगू का कोई पॉजिटिव मरीज नहीं मिला है, लेकिन डेंगू लार्वा रोजाना मिल रहा है।

पिछली बार की तरह इस बार भी डेंगू के मामले में रायपुर ब्लॉक हॉटस्पॉट बन रहा है। जिले में अबतक 529 जगह डेंगू का लार्वा मिल चुका है इसमें 443 जगह डेंगू लार्वा सिर्फ रायपुर ब्लॉक में ही मिला है। वहीं, पिछले साल जिले में डेंगू के 1201 मरीज मिले थे, इसमें 971 मरीज रायपुर ब्लॉक के ही थे।

स्वास्थ्य विभाग के मुताबिक, ग्रामीण क्षेत्रों में डेंगू का खतरा कम रहता है, लेकिन शहरी क्षेत्र में इसका ज्यादा प्रभाव देखने को मिल सकता है। हालांकि जिले में अबतक डेंगू का कोई पॉजिटिव मरीज नहीं मिला है, लेकिन डेंगू लार्वा रोजाना मिल रहा है। स्वास्थ्य विभाग के मुताबिक जिले का रायपुर ब्लॉक शहरी क्षेत्र में आता है और सबसे अधिक डेंगू का प्रकोप रायपुर ब्लॉक में ही देखने को मिलता है। 443 जगह मिले डेंगू के लार्वा से अगर मच्छर पनपते तो बड़ी आबादी प्रभावित हो सकती थी। पिछली बार भी डेंगू का प्रकोप इतना अधिक था कि जिले में 13 डेंगू मरीजों की मौत भी हो गई थी।

जिला सर्विलांस अधिकारी डॉ. सीएस रावत ने बताया कि रायपुर ब्लॉक शहरी क्षेत्र में आता है और जिले के 100 वार्ड शहरी क्षेत्र में बने हुए हैं। ग्रामीण की अपेक्षा शहरी क्षेत्र में डेंगू का प्रकोप अधिक रहता है। इन सभी वार्डों में आशा कार्यकर्ता रोजाना जाकर डेंगू लार्वा की खोज कर रही हैं।

बृहस्पतिवार को 190 जगह मिला डेंगू का लार्वा
स्वास्थ्य विभाग की रिपोर्ट के मुताबिक, बृहस्पतिवार को आशा कार्यकर्ताओं के साथ ही वॉलंटियर्स ने भी डेंगू लार्वा की खोज की। इस दौरान 190 जगह डेंगू का लार्वा मिला। इसमें 75 जगह रायपुर ब्लॉक और 115 जगह डोईवाला, ऋषिकेश में शामिल है।

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