उत्तराखंड-कोरोना संक्रमण को ले के आज होगी एसओपी जारी, रात्रि कर्फ्यू पर भी मंथन
देहरादून:
कोविड-19 महामारी की रोकथाम को लेकर गहनता से मंथन किया जा रहा है। ताकि कोरोना वायरस वैश्विक महामारी थम जाए। दरअसल केंद्रीय गृह मंत्रालय एक दिसंबर से लागू होने वाले दिशा-निर्देश पहले ही जारी कर चुका है। रविवार को नई मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) जारी हो जाएगी। इस एसओपी में इंडोर समारोह में इकट्ठा होने वाली भीड़ को सीमित करने का प्रावधान किया गया है। कोविड-19 महामारी की रोकथाम के लिए राज्य सरकार विवाह व समारोह में शामिल होने वालों की मौजूदा संख्या 200 को घटाने पर विचार कर रही है।
उत्तराखंड आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने पहली दिसंबर से लागू होने वाली प्रस्तावित एसओपी में संख्या घटाने का प्रस्ताव किया है। लेकिन प्रदेश सरकार अभी इस सोच विचार में है कि संख्या को घटाया जाए अथवा इस सप्ताह तक इंतजार किया जाए। मुख्य सचिव ओम प्रकाश ने विवाह समारोह में संख्या सीमित करने के प्रस्ताव की पुष्टि की है। उन्होंने कहा कि प्रस्ताव का परीक्षण करने के बाद रविवार को एसओपी जारी कर दी जाएगी।
बता दें कि मुख्य सचिव ओम प्रकाश ने एसओपी में संख्या को सीमित करने की पुष्टि की है। उत्तराखंड राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने एसओपी का प्रस्ताव तैयार को मुख्य सचिव को भेज दिया है।
दरअसल कोरोना के नए मामले लगातार सामने आ रहे हैं। सरकार का अनुमान है कि आने वाले समय में ये मामले और बढ़ेंगे। इसी को देखते हुए दिसंबर की एसओपी में सरकार की कोशिश यह है कि लोगों का मूवमेंट बिना प्रतिबंध के भी कम रहे। इसी को देखते हुए नाइट कर्फ्यू लगाने का अधिकार प्रदेश सरकार जिलाधिकारियों को देने वाली है। कारण यह भी है कि हर जिले की स्थिति अलग है और पहाड़ में ठंड के कारण नाइट कर्फ्यू जैसे हालात रहते हैं लेकिन मैदानी जिलों में यह स्थिति उलट है।
ऐसे में सरकार मैदानी जिलों के जिलाधिकारियों के विवेक पर रात्रि कर्फ्यू का फैसला छोड़ सकती है। स्पष्ट है कि एसओपी रविवार को जारी हो जाएगी।
1. आरोग्य सेतु एप का अधिक से अधिक उपयोग
(यह एप सरकार को सर्विलांस में मदद करता है)
2. सामाजिक दूरी और मास्क के उपयोग पर सरकार होगी सख्त
3. सर्विलांस में मदद को देखते हुए ऑनलाइन पंजीकरण की व्यवस्था बरकरार रहेगी
4. सीमा पर निगरानी और जांच और अधिक बढ़ेगी
5. जिलाधिकारियों को परिस्थितियों के अनुसार निर्णय लेने के अधिकार दिए जाएंगे
कोविड-19 महामारी की रोकथाम के लिए राज्य सरकार विवाह समारोह में जुटने वाली भीड़ को सीमित करेगी तो इसका असर विवाह समारोह में बुलाए गए अतिथियों की संख्या पर भी पड़ेगा। दिसंबर में होने वाली शादियों के कार्ड जिन लोगों ने 200 की संख्या के हिसाब से बांटे हैं, उन्हें यह संख्या 100 हो जाने पर मेहमानों के चयन के लिए खासी माथा-पच्ची करनी पड़ेगी।
“विवाह समारोह में संख्या सीमित करने पर हम विचार कर रहे हैं। बहुत से लोगों ने शादी विवाह में निमंत्रण भेज दिए हैं। हमें इस बात को ध्यान में रखना होगा। हम दो-तीन देखेंगे और उसके बाद इस प्रस्ताव पर गहनता विचार कर निर्णय लेंगे। –त्रिवेंद्र सिंह रावत, मुख्यमंत्री